मुख्यमंत्री ने बद्रीपुर देहरादून में आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न योजनाओं का किया शिलान्यास व लोकार्पण
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने बद्रीपुर देहरादून में आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न योजनाओं का शिलान्यास व लोकार्पण किया। मुख्यमंत्री ने 508.75 लाख की लागत की योजनाओं का शिलान्यास व 416.06 लाख की लागत की योजनाओं का लोकार्पण किया।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने डोईवाला विधानसभा क्षेत्र में जिन योजनाओं का शिलान्यास किया गया उनमें मा0 मुख्यमंत्री जी की घोषणा के अन्तर्गत 151.13 लाख की लागत की बद्रीपुर पेयजल योजना का सुदृढ़ीकरण कार्य (भाग 3), बद्रीपुर समीप तुलिप फार्म में 160.27 लाख की लागत का 1000 कि0ली0 क्षमता के ऊर्ध्व जलाशय का निर्माण कार्य, वैभव विहार नवादा में 99.75 लाख की लागत से 600 कि0ली0 क्षमता के ऊर्ध्व जलाशय का निर्माण कार्य, 97.60 लाख की लागत से हरिपुर नवादा ग्राम सभाओं में क्षतिग्रस्त पाईप लाइनों को बदलने का कार्य का शिलान्यास शामिल है।
इसके साथ ही, लोकार्पण की गई योजनाओं में विधानसभा क्षेत्र डोईवाला के अन्तर्गत हरिपुर नवादा वैभव विहार में नाले पर 9.21 लाख की लागत से पुलिया व सी0सी0 मार्ग निर्माण, बद्रीपुर तिलवाड़ी में 12 लाख की लागत से अम्बेड़कर भवन का निर्माण, 105.22 लाख की लागत से हरिपुर नवादा पेयजल योजना का सुदृढ़ीकरण कार्य, 96.34 लाख की लागत से हरिपुर नवादा ग्राम सभाओं में क्षतिग्रस्त पाईप लाईनों को बदलने का कार्य (भाग 1), 97.17 लाख की लागत से बद्रीपुर पेयजल योजना का सुदृढ़ीकरण कार्य (भाग 2), 96.12 लाख की लागत से बद्रीपुर पेयजल योजना (भाग 3) का सुदृढ़ीकरण कार्य का लोकार्पण शामिल है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि जिन कार्यों का आज शिलान्यास हुआ है, उन्हें गुणवत्ता एवं समयबद्धता के साथ पूर्ण किया जाए। जनता को पर्याप्त मात्रा में पेयजल की आपूर्ति हो, यह हमारा प्रयास है। 18 मार्च को राज्य सरकार के 04 वर्ष पूर्ण होने जा रहे हैं, हमने इन चार वर्षो में कई क्षेत्रों में उल्लेखनीय कार्य किये हैं। सड़को के क्षेत्र में राज्य में काफी कार्य हुआ है। चिकित्सा के क्षेत्र में हमारे संस्थानों को कई जगह सम्मानित किया जा चुका है। हमने जनभावनाओं के अनुरूप भराड़ीसैण (गैरसैण) को प्रदेश की ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित की है। भराड़ीसैण को आदर्श पर्वतीय राजधानी का रूप दिया जाएगा। जीरो टॉलरेंस की नीति ने भ्रष्टाचार पर कड़ा प्रहार किया है। ई-कैबिनेट, ई-ऑफिस, सीएम डैश बोर्ड उत्कर्ष, सीएम हेल्पलाईन 1905, सेवा का अधिकार और ट्रांसफर एक्ट की पारदर्शी व्यवस्था के चलते कार्यसंस्कृति में गुणात्मक सुधार हुआ है।